श्री गणेश भगवान (Lord Ganesha) |
भगवान गणेश (Lord Ganesha): देवो के देव भगवान शिव और माता पार्वती के सबसे छोटे पुत्र हैं। भगवान गणेश की 2 पत्नियां है, पहली पत्नी का नाम रिद्धि और दुसरी का नाम सिद्धि है। रिद्धि और सिद्धि भगवान विश्वकर्मा की पुत्रियां हैं। भगवान गणेश जी का नाम हिन्दू धर्म में किसी भी शुभ कार्य करने से पहले लिया जाता है। इस लेख में श्री गणेश जी से संबंधित सभी स्त्रोत, मंत्र, आरती, चालीसा, स्तुति और गणेश जी प्रसिद्ध भजनों को संग्रहीत किया गया है।
श्री गणेश - स्त्रोत, मंत्र, आरती, चालीसा, स्तुति, भजन
- श्री गणेश वंदना
- श्री गणेश स्तुति
- श्री गणेश चालीसा
- आरती: जय गणेश जय गणेश देवा
- आरती: शेंदुर लाल चढ़ायो
- आरती: सुखकर्ता दुखहर्ता
- आरती: गजबदन विनायक की
- आरती: गणपति की सेवा मंगल मेवा
- गणनायकाय गणदेवताय गणाध्यक्षाय
- श्री गणेश जी के मंत्र
- संकट नाशन गणेश स्तोत्रम्
- गजानन स्तोत्रम्
- देवर्षि कृत श्री गजानन स्तोत्रम्
- श्री गणेश प्रातः स्मरण स्तोत्र
- श्री गणेश भुजंगम
- श्री गणपति स्तवन
- श्री गणेश अष्टकम
- देवकृत् गणेश स्तवन स्तोत्र
- ऋणहर्ता गणेश स्तोत्र
- मयूरेश स्तोत्रम्
- मयूरेश्वर स्तोत्रम: गणेश पुराण
- श्री गणेश मंगलाष्टक
- श्री गणपति अथर्वशीर्ष
- श्री गणेश पंच रत्न स्तोत्र: मुदाकरात्तमोदकं
- श्री गणेश अष्टोत्तर शतनामावली
- वरद गणेश अष्टोत्तर शतनामावली
- श्री गणेश सहस्रनाम स्तोत्रम्
- हरिद्रा गणेश कवचम्
- गणेश जी के मंदिर
प्रसिद्ध गणेश भजन लिरिक्स -
- गणेश जी के लोकप्रिय भजन लिरिक्स
- गौरी पुत्र गणेश भजन लिरिक्स
- गणेश जी के भजन लेडीज लिरिक्स
- गणेश जी के सभी भजन
श्री गणेश को किसी भी तरह की और कोई भी नई शुरुआत, समृद्धि, बुद्धि और सफलता के देवता और जीवन से बाधाओं को दूर करने वाले भगवान माना जाता है।
गणेशजी के बारह नाम
गणेशजी के अनेक नाम हैं लेकिन ये 12 नाम प्रमुख हैं-
- सुमुख,
- एकदंत,
- कपिल,
- गजकर्णक,
- लंबोदर,
- विकट,
- विघ्न-नाश,
- विनायक,
- धूम्रकेतु,
- गणाध्यक्ष,
- भालचंद्र,
- गजानन।
।। श्री गणेश ।।
पिता- भगवान शंकर
माता- भगवती पार्वती
भाई- श्री कार्तिकेय, अय्यप्पा (बड़े भाई)
बहन- अशोकसुन्दरी, मनसा देवी, देवी ज्योति (बड़ी बहन)
पत्नी- दो (१) ऋद्धि (२) सिद्धि (दक्षिण भारतीय संस्कृति में गणेशजी ब्रह्मचारी रूप में दर्शाये गये हैं)
पुत्र- दो 1. शुभ 2. लाभ
पुत्री - संतोषी माता
प्रिय भोग (मिष्ठान्न)- मोदक, लड्डू
प्रिय पुष्प- लाल रंग के
प्रिय वस्तु- दुर्वा (दूब), शमी-पत्र
अधिपति- जल तत्व के
मुख्य अस्त्र - परशु, रस्सी
वाहन - मूषक
प्रिय वस्त्र - हरा और लाल
त्यौहार - गणेश चतुर्थी
गणेश मंत्र -
ॐ वक्रतुंडाय विद्महे एकदंताय धिमहि तन्नो द दंती प्रचोद्यात।
वक्रतुण्ड महाकाय सूर्यकोटि समप्रभः निर्विघ्नं कुरु में देव सर्वे कार्येषुसर्वदा:।